कैनेडा में प्रवेश वर्जित के पश्चात काटालन नेता पहुंचे कोर्ट
मॉन्ट्रीयल। स्पेन के काटालॉनिया धर्म के पूर्व निर्वासित अध्यक्ष कैनेडियन सरकार के विरोध में कोर्ट पहुंच गए हैं, ज्ञात हो कि क्यूबेक में होने वाले एक राष्ट्रीय ग्रुप द्वारा आयोजित सभा में भाग लेने के लिए उन्हें कैनेडा में प्रवेश नहीं दिया जा रहा। ज्ञात हो कि वर्ष 2017 में कार्ल्स पुइगडेमॉन्ट ने स्पेन छोड़ दिया था, जिसका मुख्य कारण वहां के अधिकृत धार्मिक दल ने उनके ऊपर अभियोग चलाया था। कैनेडियन सरकार के विरोध में भी उन्होंने मॉन्ट्रीयल इमीग्रेशन लॉयर स्टेफन हैंडफिल्ड को नियुक्त किया हैं। हैंडफिल्ड ने इस मामले पर प्रवासी नीतियों की गुहार करते हुए पुन: विचार करने को कहा हैं। उन्होंने आगे बताया कि काटालन एक अलगाववादी हैं जो देश से निष्कासन के पश्चात से बेल्जियम में रहते हैं और उन्हें कैनेडा की विद्युतीय यात्रा करने का अधिकार मिला हुआ हैं। जिसके चलते हुए 31 मार्च को कैनेडा में दो दिन की यात्रा हेतु अपील की थी, जिसे सरकार ने रद्द कर दी। उन्हें कैनेडा में प्रवेश नहीं दिए जाने का कारण भी उचित नहीं बताया गया। हैंडफिल्ड ने अपने साक्षात्कार में बताया कि क्या उनके रिश्तेदार आतंकी संगठन से संबंध रखते हैं या किसी अपराध से जुड़े हैं फिर उन्हें प्रवेश क्यों नहीं दिया जा रहा। प्रवासी मंत्री अहमद हुसैन के प्रवक्ता ने बताया कि उन्हें इस प्रकार देश के किसी भी धार्मिक सभा में भाग लेने के लिए अनुमति नहीं दी जा सकती वह एक अलगाववादी हैं और उनके विचारों से देश में जातिवाद हिंसा भड़कने का डर हैं, जिसके कारण अभी दुनिया में बहुत अधिक समस्याएं उत्पन्न हो रही हैं। वहीं दूसरी ओर एनडीपी प्रमुख जगमीत सिंह ने कहा कि सरकार का यह निर्णय अमान्य हैं और किसी की भी स्वतंत्रता पर हम सवालिया निशान नहीं उठा सकते, अपितु यदि वह अपने संबोधन में कोई गलत शब्दों का प्रयोग करते है तो उन पर तुरंत कार्यवाही करनी चाहिए, उससे पूर्व इस प्रकार प्रतिबंध लगाना अनुचित होगा और मानवीय अधिकारों का हनन भी माना जा सकता हैं। गौरतलब है कि इस मामले पर अंतिम निर्णय इलैक्ट्रॉल बोर्ड का होगा, जिसे ही यह निर्णय देना होगा कि काटालन को कैनेडा में प्रवेश का अधिकार है या नहीं।
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