ब्रैम्पटन सेंटर सांसद रमेश सांघा को लिबरल पार्टी से निकाला गया
- सांसद ने अपनी ही पार्टी के वरिष्ठ नेताओं पर की अभद्र टिप्पणी, जिसके कारण लिया गया यह फैसला - केंद्रीय रक्षामंत्री हरजीत सज्जन और लिबरल सांसद नवदीप बेन्स को बताया ''खालीस्तानी''
औटवा। लिबरल पार्टी में उस समय हड़कंप मच गया जब उन्हीं की पार्टी के ब्रैम्पटन सेंटर के सांसद रमेश सांघा ने मीडिया में दिए एक पंजाबी भाषा के साक्षात्कार में कहा कि उनकी पार्टी के अन्य सांसद नवदीप बेन्स और रक्षा मंत्री हरजीत सज्जन भारत के पंजाब प्रांत में सिखों के लिए अलग स्थान के समर्थक हैं, जिसे खालीस्तान के नाम से जाना जाता हैं। उन्होंने यह भी कहा कि इसलिए नवदीप बेन्स ने भी पिछले दिनों ट्रुडो सरकार की कैबीनेट से इस्तीफा दे दिया और उन्होंने इसका कारण अपने परिवार के साथ समय बीताने को कहा, परंतु वास्तव में वह भारत में खालीस्तान के लिए समर्थन कार्यक्रमों को बनाने का कार्य करेंगे। सांघा ने अपने इस बयान के पश्चात तुरंत ही कोई अन्य टिप्पणी भी नहीं जाहिर की जिसके कारण पार्टी ने अपना फैसला सुना दिया। सांघा ने यह भी बताया कि कैनेडा अपने मूल्यों पर अड़ीग हैं और वह किसी भी देश में इस प्रकार के अलगाववाद को बढ़ावा नहीं देना चाहता, इसलिए हम ऐसे मंत्रियों का समर्थन नहीं कर सकते, परंतु बेन्स ने अपनी टिप्पणियों की कोई भी प्रमाणिकता स्पष्ट नहीं की जिससे उन पर इस झूठे कथनों के कारण कड़ी कार्यवाही सुनिश्चित की गई हैं। गर्वमेंट वीप मार्क हौलेंड ने इस निष्कासन पर मीडिया को बताया कि सांघा के इस झूठे बयान पर जांच आरंभ कर दी गई हैं और उनसे भी इस बारे में अधिकारिक रुप से वार्ता की जाएंगी जिसमें यदि वे कोई प्रमाणिकता नहीं दे सकेंगे तो उन पर कार्यवाही करते हुए उन्हें पूर्ण रुप से लिबरल पार्टी से निकाल दिया जाएंगा। कैनेडा में कभी भी जातिवाद को बढ़ावा नहीं दिया हैं और इसके कारण कोई भी व्यक्ति देश या विदेश के मामलों में अनुचित हस्तक्षेप नहीं कर सकता। हौलेंड ने यह भी माना कि लिबरल पार्टी में कई मंत्री सिख हैं और यदि इस प्रकार की गलत धारणाओं को स्वीकार किया जाता तो कैबीनेट में इतने मंत्री सिख समुदाय के नहीं होते, इसलिए इस पूरे प्रकरण को समझने और इसकी प्रमाणिकता के लिए जल्द ही जांच कमेटी बिठाकर निर्णय लिया जाएगा।
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