
टोरंटो : केंद्रीय दूरसंचार नियामकों का मानना है कि देश में संबंधित मूल्यों में बहुत अधिक अंतर देखा जा रहा हैं, जिसे नियमित करने के लिए नई घोषणाएं की गई हैं। कैनेडियन रेडियो – टेलीविजन एंड टेलीकम्युनिकेशनस कमीशन का कहना है कि वर्तमान प्रतियोगिताओं में बाजार में बने रहने के लिए कुछ बड़े बदलाव अवश्य करने होंगें, इसके लिए कंपनी का कहना है कि वे अपने हॉलसेलरों को मूल्यों में कुछ प्रोत्साहित स्कीम देने पर विचार कर रही हैं जैसे टैकसेवे आदि को, कंपनी का कहना है कि इससे छोटी कंपनियों को जो बहुत अधिक मात्रा में इंटरनेट सेवाओं का उपयोग करती हैं, उन्हें उचित मूल्यों में ये सेवाएं मिल सकेगी और वे अपने व्यापार को भी प्रोत्साहित कर सकेंगे।
सीआरटीसी के अनुसार इस समय देश में जहां महंगाई तेजी से बढ़ रही हैं, वहीं अन्य तकनीकी सेवाओं में भी भारी वृद्धि लोगों पर प्रभाव ड़ाल रही हैं, जिसे नियंत्रित करने के लिए यह एक उचित उपाय साबित हो सकता हैं। इसके लिए उन्होंने अपनी नई योजना में इस बात को भी शामिल किया हे कि वे अगले पांच वर्षों के लिए प्रोत्साहित पैकेज देंगे, जिसमें इन सेवाओं के मूल्यों को सुनिश्चित कर दिया जाएंगा और कंपनियों से अगले पांच वर्षों तक वहीं मूल्य लिया जाएंगा, इसके अतिरिक्त कोई भी शुल्क नहीं वसूला जाएंगा। लेकिन सीआरटीसी का यह भी कहना है कि इसके लिए वर्तमान क्रियाओं का विकास भी बहुत अधिक जरुरी हैं जिसके कारण ही भविष्य के लक्ष्यों को पूरा किया जा सकता हैं, इसके लिए भी उचित योजना बनाकर मार्केट के रेटों पर ध्यान देना होगा जिससे समानता बनी रहें और बाजार में किसी भी प्रकार की भेदभाव नीति को स्थान नहीं मिल सके।
दूरसंचार कंपनी की इस घोषणा पर कार्यकारी निदेशक जीऑफ व्हाईट ने कहा कि छोटी कंपनियों को समझौते के लिए कोई भी राहत नहीं मिलती थी, लेकिन अब इसमें उन्हें नई शक्तियां मिलेगी, जिससे नई विचार सामने आ सकेगें और बाजार में भी नई सेवाओं का जन्म होगा, ज्ञात हो कि गत मार्च में सीआरटीसी द्वारा अपनी सेवाओं के मूल्यों में 10 प्रतिशत तक की कटौती की घोषणा की गई थी, जिसके बाद इंटरनेट बाजार में और अधिक प्रतियोगिता बढ़ गई और इसे नियंत्रित करने के लिए कंपनियां अपने उपभोक्ताओं को तरह-तरह के प्रलोभन दे रही हैं।
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