टोरंटो। ओंटेरियो की दुरहम सीट पर कंसरवेटिव के उम्मीदवार जामिल जीवानी ने अपनी जीत पक्की कर सभी को हैैरान कर दिया, उन्होंने अपने धन्यवाद संबोधन में कहा कि लिबरल को हराकर उन्हें अच्छा लग रहा हैं, इस सीट पर चुने जाने के बाद उन्होंने लोगों को आश्वस्त करते हुए बताया कि वह सबसे पहले नौकरी पेशा लोगों के लिए जीवन को आसान बनाने के नए प्रस्तावों पर कार्य करेंगे। दुरहम सीट जीतकर जीवानी अब सीधे तौर पर हाऊस ऑफ कोमनस में प्रवेश कर सकेंगे।
सोमवार को देर रात को आएं इस मतदान की फाईनल रिपोर्ट में इस बात की पुष्टि करते हुए माना गया कि जीवानी ने यह सीट 55 प्रतिशत मत प्राप्त कर जीत ली हैं, उन्होंने अपने निकटतम प्रतिद्वंदी लिबरल के उम्मीवार रॉबर्ट रॉक को हराकर जीती, वहीं एनडीपी के उम्मीदवार क्रिश बॉरगिया को तीसरा स्थान मिला। जीवनी ने यह सीट जीतकर कंसरवेटिवस के मन में एक नया उत्साह पैदा कर दिया हैं, ज्ञात हो कि पिछले 20 साल बाद एक बार फिर से कंसरवेटिवस ने अपनी जीत इस सीट पर पक्की की हैं।
इस सीट के लिए अपने चुनावी प्रचार में जीवानी ने करों में कटौती, नई आवासीय योजनाओं को जल्द से जल्द पूरा करना, बजट में स्थिरता और अपराध पर नियंत्रण जैसे वादों को मुख्यत: अग्रसर रखा, जिससे वह जनता को प्रभावित करने में कामयाब रहें और आज वह इस सीट को जीतकर दुरहम प्रांत के नए सांसद के रुप में अपना कार्यभार संभालेंगे।
जीवनी ने अपने संबोधन में यह भी कहा कि इस समय देश में क्या स्थिति-परिस्थिति चल रही हैं, इससे कोई भी अंजान नहीं, लेकिन इस परिस्थितियों को सामान्य करने के लिए किसी एक को तो आगे आना होगा, जिसके लिए जनता ने अब उन्हें मौका दिया हैं, जानकारों के अनुसार यह भी माना जा रहा हैं कि इस सीट पर देश की प्रमुख तीनों पार्टियों की कड़ी नजर थी, जीवानी ने यह भी कहा कि उनका पहला काम इस क्षेत्र के नौकरीपेशा लोगों को उचित सुविधाएं देते हुए उनके जीवन को और भी अधिक सरल बनाना रहेगा। जिसके लिए पिछले 20 सालों से केवल वादें किए गए, जिसमें प्रधानमंत्री जस्टीन ट्रुडो भी शामिल थे, इस क्षेत्र के लोगों का समय-समय पर सभी ने लाभ उठाने का प्रयास किया जिसमें न केवल लिबरल पार्टी, बड़े बैंकस और दूरसंचार कंपनियां आदि सभी शामिल थे।
गौरतलब है कि वर्ष 2022 में जीवानी ओंटेरियो में राज्य सरकार में शिक्षामंत्री के रुप में कार्यरत थे, जिसे उन्होंने कोविड-19 महामारी काल के दौरा उनके अभिभावकों पर बहुत अधिक बुरा प्रभाव पडऩे के कारण छोड़ दिया था। लेकिन अब उन्हें समझ आ गया हैं कि समाज की सेवा उन्हीं के बीच में रहकर की जा सकती हैं, उन्होंने वर्तमान परिस्थितियों के लिए जिम्मेदार केंद्र सरकार पर आरोप लगाते हुए माना कि केंद्र सरकार की गलत नीतियों के कारण आज कैनेडा की आर्थिक स्थिति मजबूत होने के स्थान पर और अधिक कमजोर पड़ती जा रही हैं, आम आदमी को और अधिक मेहनत करने के बाद भी उतना वेतन नहीं मिल पाता और इससे पूंजीपति और अधिक अमीर होता जा रहा हैं और गरीब और अधिक गरीब हो रहा हैं, जिसके लिए संतुलित बजट और सामान्य स्थितियों को सामान्य करना बेहद आवश्यक हैं।
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