लखवी की रिहाई के फिर आदेश, भारत ने जताई चिंता

zaki-ur-rehman-lakhviनई दिल्ली। 2008 मुंबई हमले के मास्टरमाइंड लश्कर आतंकी जकी उर रहमान लखवी को सजा मिलने की उम्मीदें धुंधली होती जा रही है। हालत यह है कि भारत और दुनिया के तमाम दबावों के बावजूद पाकिस्तानी अदालतें उसे जेल से रिहा करने पर आमादा है। लाहौर हाई कोर्ट ने एक बार फिर लखवी को जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया है। पहले की तरह इस बार भी भारत ने इस पर कड़ा एतराज जताया है। अब जेल में रखना संभव नहींलेकिन गृह मंत्रालय के अधिकारी अब दबी जुबान से स्वीकार करने लगे हैं कि लखवी को ज्यादा दिनों तक जेल में रखना संभव नहीं हो सकेगा। गुरुवार को लाहौर हाईकोर्ट ने 26/11 हमलों के मास्टरमाइंड जकीउर रहमान लखवी को हिरासत में रखने के पंजाब सरकार के आदेश को निरस्त कर दिया। हाईकोर्ट का कहना था कि लखवी को हिरासत में रखने की जरूरत पर पंजाब सरकार पुख्ता सुबूत नहीं दे पाई है। इसके पहले मुंबई हमले की सुनवाई कर रही स्थानीय अदालत लखवी की रिहाई का आदेश चुकी है। लेकिन अंतरराष्ट्रीय दबाव के कारण पाक सरकार ने कानून-व्यवस्था का हवाला देकर लखवी को हिरासत में रखने का आदेश दिया था। लाहौर हाईकोर्ट में लखवी ने पंजाब के गृह विभाग के अपने खिलाफ जारी हिरासत के आदेश को चुनौती देते हुए एक याचिका दाखिल की थी। अदालत में सुबूत पेश नहीं करती पाकिस्तानी सरकार लखवी की रिहाई पर भारत ने एक बार फिर कड़ी प्रतिक्रिया दी है। गृह मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि पाकिस्तान सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि मुंबई हमले का यह आरोपी रिहा नहीं हो पाए। लेकिन दबी जुबान में वे यह स्वीकार भी रहे हैं कि लखवी को लंबे तक जेल में रखना संभव नहीं हो सकेगा। उन्होंने कहा कि दुनिया को दिखाने के लिए पाकिस्तान लखवी के खिलाफ कार्रवाई जरूर करती है, लेकिन अदालत में उसके खिलाफ सारे सुबूत नहीं पेश करती है, जो मुंबई हमले के सिलसिले में भारत ने उपलब्ध कराया है। उनके अनुसार पाकिस्तान एक सोची समझी साजिश के तहत अदालत के जरिये लखवी को रिहा कराने की कोशिश कर रहा है। गौरतलब है कि लखवी का नाम उन सात आतंकियों में शामिल है, जिन्होंने साल 2008 में मुंबई हमलों को अंजाम दिया था। इनमें छह अन्य आरोपी अदियाला जेल में बंद हैं, जिनके खिलाफ सुनवाई चल रही है। मुंबई हमले के समय लखवी प्रतिबंधित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा का कार्यवाहक प्रमुख था। उस हमले में 166 लोग मारे गए थे।

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