चिल्ड्रन्स कमीश्नर की नियुक्ति पर लिबरल्स पर दबाव

औटवा। लिबरलस अपने चुनावी वादे को लेकर पुन: विवादों के घेरे में आ गई हैं, इस बार उनके द्वारा पृथक चिल्ड्रनÓस कमीश्नर की नियुक्ति को लेकर सवाल उठाए जा रहे हैं, अपने चुनावी वादे के अंतर्गत उन्हें यह नियुक्ति जल्द ही करनी थी परन्तु अपने कार्यकाल के एक वर्ष से भी अधिक समय बीतने के पश्चात भी इस प्रकार की कोई नियुक्ति की कार्यवाही नहीं होती दिख रही हैं। सरकार द्वारा एक ऐसे व्यक्ति की नियुक्ति का वादा किया गया था जो बिना किसी भेद-भाव या गैर-पार्टी संबंधी व्यक्ति एक निष्पक्ष आवाज होती और जो विशेषतौर पर युवाओं के लिए कार्य करता। चैरिटी चिल्ड्रन फर्स्ट कैनेडा की संस्थापक सारा ऑस्टीन ने कहा कि पिछले दस वर्षों से कैनेडा की शिक्षा व्यवस्था और शोध कार्यों में किसी भी प्रकार को कोई बदलाव नहीं आया हैं और सरकार द्वारा किए कार्यों से यह भी नहीं ज्ञात हो पा रहा कि इस प्रकार के कार्यों में सरकार की कोई रुचि हैं या नहीं। उन्होंने आगे कहा कि अब समय आ गया हैं जब सरकार को अपने वादे को जल्द से जल्द पूरा करना चाहिए। उन्होंने सरकार को उस वादे की भी याद दिलाई जिसमें उन्होंने लगभग 1.25 मिलीयन गरीब बच्चों की मदद की बात दोहराई। हम यहीं चाहते हैं कि इस विषय पर सरकार को पुख्ता कदम उठाएं जिससे इन गरीब बच्चों का भविष्य सुधर जाएं, गौरतलब हैं कि गरीबी का विशेष असर इन बच्चों पर नहीं पड़ता, फिर भी सरकार को अपने किए वादे को शीघ्र ही पूरा करना चाहिए। उन्होंने आगे कहा कि वह आगामी दिनों में सरकार पर अपना दबाव बनाएंगी, जिससे सरकार जल्द से जल्द इस कार्य के लिए अपनी योजना तैयार करें। सरकारी प्रवक्ता के अनुसार इस विषय पर सरकार चर्चा कर रही हैं और पूरी योजना के तैयार होने के पश्चात ही इसे जारी करने की विवेचना करेगी। यह एक दीर्घ-कालीन प्रभाव होगा जिस असर देश के सभी गरीब बच्चों पर पड़ेगा।
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