आयोग ने राहुल को दी तीन और दिन की मोहलत
नई दिल्ली। चुनाव आयोग ने कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी को कारण बताओ नोटिस का जवाब देने के लिए अतिरिक्त तीन दिन का समय दे दिया है। राहुल ने टिप्पणी की थी कि अगर भाजपा सत्ता में आई तो 22 हजार लोग हिंसा में मारे जाएंगे। इसके अलावा आयोग ने लोकसभा चुनाव-2009 में खर्च की गलत जानकारी देने के मामले में महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक चह्वाण और झारखंड के पूर्व सीएम मधु कोड़ा को 23 मई को पेश होने का निर्देश दिया है। साथ ही आयोग ने अमेठी से भाजपा प्रत्याशी स्मृति ईरानी को अयोग्य घोषित करने से इन्कार कर दिया है।
आयोग ने राहुल को सोमवार सुबह तक नोटिस का जवाब देने को कहा था, लेकिन उनके आग्रह पर अब उन्हें 15 मई तक का समय दे दिया गया है। हिमाचल प्रदेश के सोलन में पहली मई को हुई जनसभा में राहुल ने कहा था, ‘जापान के लोगों का कहना है कि वे एक मुद्दे को लेकर डर रहे हैं। उनका कहना है कि वे हमारी मदद करेंगे। वे यहां सड़कें भी बनाएंगे, लेकिन उनका डर है कि भारत में शांति रहेगी। वे पूछ रहे हैं कि क्या भारत के लोग आपस में लड़ेंगे तो नहीं?’ राहुल ने कहा कि यह डर हमारे जीवन में भी है। अगर भाजपा सत्ता में आई तो 22 हजार लोग हिंसा में मारे जाएंगे, क्योंकि वे लोग घृणा फैलाएंगे। राहुल की इस टिप्पणी पर भाजपा ने चुनाव आयोग से शिकायत की थी। इसके बाद 9 मई को आयोग ने राहुल को कारण बताओ नोटिस जारी कर जवाब तलब किया था।
सोमवार को चुनाव आयोग ने तय सीमा से अधिक चुनाव खर्च के कारण स्मृति ईरानी की उम्मीदवारी पर खतरे की आशंकाओं को खारिज किया। आयोग ने कहा कि इस बारे में अभी कोई भी टिप्पणी करना जल्दबाजी होगा। आयोग को अभी तक स्मृति ईरानी सहित सभी उम्मीदवारों के चुनाव खर्च की जानकारी नहीं मिली है।
इसके अलावा चुनाव आयोग ने अशोक चह्वाण और मधु कोड़ा को नया नोटिस जारी कर 23 मई को पेश होने का आदेश दिया है। दोनों पर 2009 लोकसभा चुनाव में खर्च की गलत जानकारी देने का आरोप है। आयोग ने दोनों को खुद या अपने प्रतिनिधि के मार्फत पेश होने का आदेश दिया है। इससे पहले आयोग ने चह्वाण के मामले की सुनवाई मई, 2012 में की थी, जबकि कोड़ा के मामले में आयोग ने अक्टूबर, 2010 में नोटिस जारी किया था।
दस दलों ने नहीं दी थी चुनाव खर्च की जानकारी
नई दिल्ली। देश में हाल में हुए विभिन्न विधानसभा चुनावों में कांग्रेस, भाजपा और भाकपा सहित दस राजनीतिक दलों ने चुनाव खर्च की जानकारी ही नहीं दी। सोमवार को तैयार की गई चुनाव आयोग की अंतिम रिपोर्ट में कहा गया है कि कांग्रेस, भाजपा, भाकपा, अन्नाद्रमुक, आइयूएमएल, जद (एस), एनपीपी, राजद, यूडीपी और जोराम नेंशनलिस्ट पार्टी ने विधानसभा चुनावों के दौरान खर्च की जानकारी नहीं दी। आयोग ने सभी 10 दलों को चुनाव खर्च की जानकारी सौंपने का नोटिस जारी कर दिया है।
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