26/11 जैसे हमलों को रोकने में सालों से जुटा है अमेरिका

वाशिंगटन। अमेरिका ने कहा है कि 26/11 जैसे हमलों की पुनरावृत्ति रोकने के लिए वह पिछले कुछ सालों से सहयोगी देशों और उनकी खुफिया एजेंसियों के साथ मिलकर काम कर रहा है।

अमेरिकी विदेश मंत्रालय की उप प्रवक्ता मैरी हार्फ ने बताया कि अमेरिकी खुफिया एजेंसी सहयोगी देशों की संस्थाओं के साथ पिछले छह सालों से काम कर रही है, ताकि भविष्य में मुंबई जैसे हमले रोकने में कामयाब हो पाएं। नियमित संवाददाता सम्मेलन के दौरान सोमवार को हार्फ ने यह बात कही।

अमेरिका, ब्रिटेन और भारत की खुफिया एजेंसियों के बीच तालमेल की कमी के कारण मुंबई में आतंकी हमला होने संबंधी खबरों को लेकर पूछे गए सवालों का वे जवाब दे रही थीं। उल्लेखनीय है कि न्यूयॉर्क टाइम्स, प्रोपब्लिका और पीबीएस सिरीज फ्रंटलाइन ने अपनी रिपोर्ट ‘इन 2008 मुंबई किलिंग्स, पाइल्स ऑफ स्पाई डाटा, बट एन अनकंप्लीटेड पजल’ में खुफिया एजेंसियों के बीच तालमेल की कमी को उजागर किया है।

साझेदारी व समन्वय में सुधार हार्फ ने बताया कि अमेरिकी एजेंसियों के साथ-साथ सहयोगी देशों के साथ भी खुफिया सूचनाओं की साङोदारी और समन्वय में सुधार आया है। उन्होंने कहा कि खुफिया सूचनाएं अलग-अलग स्रोतों से टुकड़ों में आती हैं। इसे देखने का हर देश और एजेंसी का नजरिया भी अलग-अलग होता है। यह एक ऐसी चुनौती है, जिसका सामना हमें हर दिन करना पड़ता है, लेकिन मुंबई हमलों के बाद सहयोगियों के साथ हम इस दिशा में आगे बढ़े हैं।

उन्होंने कहा कि अमेरिका में हमेशा से देशी संस्थाओं के बीच और सहयोगी देशों के साथ खुफिया सूचना साझा करने के तरीके रहे हैं। भारत या ब्रिटेन के साथ हमारी काफी नजदीकी खुफिया साङोदारी है। मुंबई हमले के बाद इस दिशा में अतिरिक्त कदम उठाए गए हैं।

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