भाजपा में हर सीट के लिए नेता बनाए जाएंगे जवाबदेह
नई दिल्ली। दिल्ली में पिछले एक डेढ़ महीने की कवायद के बावजूद पूर्ण बहुमत को लेकर अनिश्चित भाजपा में हर सीट के लिए नेताओं को जवाबदेह होना पड़ेगा। खासकर जिन सीटों पर भाजपा पिछली बार जीती थी वहां हारी तो संबंधित नेताओं पर कार्रवाई भी हो सकती है।
दिल्ली चुनाव में अब महज दस दिन हैं। इस बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत केंद्र के कई वरिष्ठ मंत्री भी चुनाव प्रचार में होंगे। अलग- अलग राज्यों से आकर दिल्ली में प्रभावी संख्या में रहने वाले लोगों को अलग से भी साधा जाएगा। इस क्रम में 30 जनवरी को तालकटोरा स्टेडियम में मध्य प्रदेश के लोगों का सम्मेलन आयोजित किया जाएगा। प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान समेत भाजपा अध्यक्ष अमित शाह भी उसमें मौजूद होंगे।
पार्टी अध्यक्ष अमित शाह के माइक्रो मैनेजमेंट पर भी काम शुरू हो गया है। कार्यकर्ताओं को हर घर में कम से कम चार बार जाकर उन्हें भाजपा की सोच से जोडऩे का निर्देश भी दे दिया गया है। नेताओं की ओर से बहुमत का दावा भी किया जा रहा है लेकिन, सूत्रों की मानें तो पार्टी आशंकित है और कोई कसर नहीं छोडऩा नहीं चाहती है। डर नेताओ से है और दो स्तर पर है।
गौरतलब है कि घर-घर चलो अभियान लोकसभा चुनाव से पहले ही शुरू हुआ था, लेकिन न तो दिल्ली के पिछले विधानसभा चुनाव में नेताओं ने इसपर सक्रियता से काम किया था और न ही अब तक उसे पूरा किया गया है। इसका असर तभी दिख गया था जब केंद्रीय नेताओं की बैठकों में भी स्थानीय नेता व कार्यकर्ता पर्याप्त संख्या में जनता को नहीं ला पाए थे।
दूसरी तरफ पहले से बंटी भाजपा में किरण बेदी के आने के बाद से सुस्ती की रिपोर्ट भी मिल रही है। लिहाजा अब सख्त संदेश दिया गया है। ध्यान रहे कि दिल्ली को एक दर्जन से अधिक राजनीतिक जिलों में बांटकर केंद्रीय नेताओं को जिम्मा दिया गया है तो उनके नीचे भी कई सांसदों को जिम्मेदारी दी गई है। बताते हैं कि यह स्पष्ट कर दिया गया है कि किसी भी तरह की सुस्ती बर्दाश्त नहीं होगी। जिन सीटों पर पार्टी पहले जीत चुकी है वहां अगर हार हुई तो कार्रवाई भी भुगतनी पड़ सकती है।
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